बीकानेर, राजस्थान/ रामेशवरलाल पानेचा : नोखा निवासी जाबांज जगदीश बिश्नोई (32) का सोमवार को राजकीय सम्मान से अंतिम संस्कार किया गया। शोक में सोमवार को नोखा का बाजार बंद रहा। बिश्नोई को गार्ड ऑफ ऑनर की सलामी देकर अंतिम विदाई दी गई।
जानकारी के अनुसार पुलिस दल के शहीद को अंतिम विदाई देने के लिए स्कूली बच्चे व हजारों की संख्या में गांव व आसपास के क्षेत्र के लोग पहुंचे। शहीद को भारत माता की जय व वंदेमातरम के नारों के साथ अंतिम विदाई दी गई। शहीद जगदीश बिश्नोई को बीएसएफ ने शहीद के सम्मान में मातमी धुन बजाकर, श्रद्धासुमन अर्पित किए। जानकारी के अनुसार जब जांबाज का पार्थिव के घर पहुंचते ही मां, पिता, भाई, बहन की आंखों से आंसुओं क धार ने माहौल को कर दिया गमगन, पूरे गांव में छा गया मातम, हर किसी की आंखेें आंसू से भर गए । जगदीश नोखा से 20 दिन पहले ही छत्तीसगढ ड्यूटी पर गया था। वह छुट्टियों पर आया हुआ था। उसके जाने के बाद उसके ताऊ का भी निधन हुआ मगर वह घर नहीं जा पाया। अप्रैल में उसकी छुट्टियां स्वीकृत हो रखी थी। घर वालों को जगदीश का इंतजार था। अब आ तो रहा है मगर शहीद होकर। इससे हर कोई स्तब्ध है। शहीद का पार्थिव शरीर जब बीएसएफ के जवान लेकर आए तो गांव में मातम सा छा गया। गांव में शव को शव वाहन में रखकर पूरे राजकीय सम्मान, भारत माता के नारे, शहीद अमर रहे के नारे के साथ अंतिम विदाई दी गई। वहीं शहीद को गांव के छोटे बच्चें से लेकर बुजुर्गों ने शहीद को पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि अर्पित की। शहीद की अंतिम विदाई यात्रा में संसदीय सचिव विश्वनाथ मेघवाल, संभागीय आयुक्त सुवालाल, आईजी विपिन कुमार पाण्डेय, कलक्टर वेदप्रकाश, एसपी डॉ. अमनदीपसिंह कपूर, बिश्नोई सभा के प्रदेशाध्यक्ष शिवराज बिश्नोई व बिश्नोई महासभा के आला पदाधिकारी सहित हजारों ग्रामीण शामिल हुए। वहीं रविवार को एयर पोर्ट पर शहीद को पुष्पचक्र अर्पित किये। इसके बाद में गंगाशहर, से लेकर नोखा के बीच में हर जगह लोगों ने शहीद के पार्थिक देह पर पुष्पा वर्षा की। लोगों ने शहीद जगदीश बिश्नोई अमर रहे के नारे लगाए।