नई दिल्ली, नगर संवाददाता : उत्तरी दिल्ली नगर निगम के आयुक्त संजय गोयल ने ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2016 के अनुपालन की प्रगति के संबंध में अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। बैठक के दौरान पर्यावरण प्रबंधन सेवाएं विभाग के अधिकारी, सभी उपायुक्त और वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। बैठक के दौरान ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियम 2016 के कार्यान्वयन की वर्तमान स्थिति और स्रोत पर कचरे के शत-प्रतिशत पृथक्करण के लक्ष्य को प्राप्त करने के संबंध में चर्चा की गई। बैठक के दौरान आयुक्त संजय गोयल ने बताया कि स्रोत पर शत-प्रतिशत पृथक्करण के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए उत्तरी दिल्ली नगर निगम घरों/शॉपिंग प्रतिष्ठानों से केवल अलग-अलग किए गए गीले व सूखे कूड़े को एकत्र करेगी।
उन्होंने अधिकारियों को आरडब्ल्यूए और मार्केट एसोसिएशन के साथ अपशिष्ट पृथक्करण के लाभों और समाज पर इसके सकारात्मक प्रभावों के बारे में नागरिकों को जागरूक करने के लिए जन जागरूकता अभियान चलाने के निर्देश दिए है। उन्होंने अधिकारियों को यह भी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए है कि गीले व सूखे कूड़े को अलग-अलग रंगों के हरे और नीले रंग के कूड़ेदानों में कूड़ा उठाने वाली कंपनियों द्वारा प्रसंस्करण सुविधा तक ले जाया जाए। आयुक्त, संजय गोयल ने बताया कि उत्तरी दिल्ली नगर निगम नियमित डिफॉल्टरों के परिसरों पर लाल स्टीकर चिपकाएगी जो अपशिष्ट पृथक्करण के मानदंडों का उल्लंघन करते हैं। उन्होंने कहा कि स्रोत पर कूड़े को अलग करने के संबंध में अधिकारियों को आरडब्ल्यूए/मार्केट एसोसिएशन/बल्क वेस्ट जेनरेटर के साथ नियमित बैठक करने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने अधिकारियों को जेजे कॉलोनियों, वाणिज्यिक संस्थानों और अन्य गैर-आवासीय परिसरों सहित स्रोत पर कचरे को अलग करने के लिए क्षेत्र विशिष्ट रणनीति तैयार करने का निर्देश दिए है। आयुक्त संजय गोयल ने बताया कि कूड़ा उठाने वाली कंपनियों को 1 नवंबर 2021 से गैर-पृथक कचरे को एकत्र करने के लिए प्रतिबंध लगाने का निर्देश दिए गए है। इसके साथ ही उन्हें ढालाव घरों पर कर्मचारियों को तैनात करने के निर्देश दिए गए है ताकि नागरिक गैर-पृथक कचरे को ढालाव घरों पर ना डाले।