पटना, बिहार/पुष्पारानीः पटना से लेकर अन्य शहरों में भी किडनी निकालने का मामला काफी समय तक लोगों के जहन में रहा था, राजधानी में एक बार फिर किडनी निकालने का मामला प्रकाश में आया है। बोरिंग कैजाल रोड में एक निजी अस्पताल के एक निजी अस्पताल के सर्जन डॉक्टर प्रमोद कुमार झा पर किडनी निकालने का अरोप लगा है। मरीज व मरीज के परिजनों के ऑपरेशन करने से पहले हस्ताक्षर लिए जाते है। डॉक्टर प्रमोद का भी यही कहना है कि रिस्क बांड पेपर पर सहमति दी थी, तत्पश्चात ही ऑपरेशन किया गया, लेकिन पथरी के जगह किडन निकाल ली गई। अगर ऑपरेशन के दरमियान किडनी से खून रिसने लगा था तो परिजनों को क्यों नहीं बताया गया कि किडनी निकालना पड़ेगा। इसलिए 304 के तहत केस दर्ज होगा क्योंकि सर्जरी के दौरान लापरवाही बरती गई है। आपने तो सुना ही होगा कि ऑपरेशन के दौरान पेट में कैंची, तौलिया इत्यादि छोड़ दिए जाते थे, पर ये मामला किडनी का है। कब तक डॉक्टर मरीजों के साथ मनमानी करते रहेंगे। वक्त आ गया है कि डॉक्टरों को भी सबक सिखाया जाए।
Latest News
यातायात नियमों के पालन से होगा दुर्घटना से बचावः शैलेश पाण्डेय
अक्षय पात्र फाउण्डेशन के सभी कर्मचारियों ने ली यातायात नियमों के पालन की शपथ
मथुरा/यूपीः इरफान सैफीः अक्षय पात्र फाउण्डेशन वृन्दावन द्वारा यातायात प्रशिक्षण एवं...
पीएम मोदी पर गर्व है, उन्होंने महिलाओं के विकास को मुख्य एजेंडे में शामिल...
नई दिल्ली/वाशिंगटन, केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने भारत और अमेरिका की प्रतिष्ठित महिला नेताओं के एक समूह से कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने...
भारत ने फरवरी में 12 चीतों को लाने के लिए दक्षिण अफ्रीका के साथ...
नई दिल्ली, नगर संवाददाता। भारत ने मध्य प्रदेश में कुनो राष्ट्रीय उद्यान में 12 चीतों के स्थानांतरण के लिए दक्षिण अफ्रीका के साथ एक...