मुंबई/नगर संवाददाता : शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के पुत्र आदित्य ठाकरे ने कहा कि वे महाराष्ट्र में आगामी विधानसभा चुनाव में मुंबई की वर्ली विधानसभा सीट से प्रत्याशी होंगे। आदित्य ने यहां पार्टी की एक रैली में यह घोषणा की। यह पहला मौका होगा, जब ठाकरे खानदान से कोई व्यक्ति चुनाव लड़ेगा।
उन्होंने कहा कि वे मुंबई की वर्ली विधानसभा सीट से चुनाव लड़ेंगे। शिवसेना के मौजूदा विधायक सुनील शिंदे आदित्य के लिए अपना स्थान खाली करेंगे। उन्होंने लोगों से कहा कि मुझे जीत का भरोसा है, क्योंकि आप सभी का आशीर्वाद मेरे साथ है।
शिवसेना के एक सूत्र ने कहा कि वर्ली को शिवसेना की सबसे सुरक्षित विधानसभा सीटों में से एक समझा जाता है इसलिए आदित्य की उम्मीदवारी को अंतिम रूप दिया गया है। राकांपा के पूर्व नेता सचिन अहीर हाल में शिवसेना में शामिल हुए थे, जो आदित्य ठाकरे की जीत को आसान बना सकते हैं।
अहीर को 2014 के विधानसभा चुनाव में सुनील शिंदे ने पराजित किया था। दिवंगत बाल ठाकरे द्वारा 1966 में शिवसेना की स्थापना किए जाने के बाद से ठाकरे परिवार से किसी भी सदस्य ने कोई चुनाव नहीं लड़ा है या वे किसी भी संवैधानिक पद पर नहीं रहे हैं।
उद्धव के चचेरे भाई और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) प्रमुख राज ठाकरे ने 2014 में राज्य में हुए विधानसभा चुनाव में लड़ने की अपनी इच्छा जताई थी। हालांकि उन्होंने बाद में अपना मन बदल लिया था। उद्धव ठाकरे ने शनिवार को अपने उस ‘वादे’ को याद किया, जो उन्होंने अपने दिवंगत पिता बाल ठाकरे से किया था। उन्होंने एक ‘शिवसैनिक’ (पार्टी कार्यकर्ता) को महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री बनाने का वादा किया था।
सीटों के बंटवारे को लेकर हुए विवाद के बाद 2014 का विधानसभा चुनाव भाजपा और शिवसेना ने अलग-अलग लड़ा था। भाजपा ने 260 सीटों पर चुनाव लड़ा था जिसमें से उसे 122 सीटों पर जीत मिली थी जबकि शिवसेना ने 282 सीटों पर चुनाव लड़ा था और उसे 63 सीटें मिली थीं।
शिवसेना ने विधानसभा चुनाव के लिए गठबंधन को अंतिम रूप दिया: महाराष्ट्र के वरिष्ठ मंत्री चंद्रकांत पाटिल ने कहा कि भाजपा और शिवसेना ने राज्य में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए सीटों के बंटवारे संबंधी समझौते को अंतिम रूप दे दिया है।
पाटिल ने पत्रकारों से कहा कि मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस और शिवसेना के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे एक संयुक्त बयान के जरिए सीटों के बंटवारे संबंधी समझौते की घोषणा करेंगे। ठाकरे के एबी फॉर्म को अपनी पार्टी के उम्मीदवारों को सौंपे जाने के एक दिन बाद यह घटनाक्रम हुआ है। एबी फॉर्म में पार्टी के आधिकारिक उम्मीदवारों का उल्लेख होता है।